पिछले कुछ दिनों से प्रतिभा संजय की मदद कर रही थी मेघना से बात करने में। संजय के कहने पर प्रतिभा ने मेघना को संजय के बारे में सारी गलतफहमी दूर कर दी और उसके बारे में थोड़ी अच्छी बातें भी बताई, जिससे मेघना भी थोड़ा बहुत इंप्रेस भी हुई।

फिर धीरे-धीरे संजय और मेघना की चैटिंग भी स्टार्ट हो गई। पर बात  hi ,hello से आगे नहीं हुई। क्योंकि मेघना ने संजय में अभी भी कोई खास इंट्रेस्ट नहीं दिखाया था ।

आज मेघना और प्रतिभा घूमने आए हैं पर घूमने आने का प्लान ऐसे ही नहीं बना बल्कि  संजय ने ही प्रतिभा से कहा था कि तुम मेघना को घूमने के लिए घाट पर बुलाओ ,उसे कहो कि शाम के समय यहां बोटिंग करने में बहुत मजा आता है। फिर हम भी वहां अचानक से आ जाएंगे तो थोड़ा मिल भी लेंगे तो क्या पता बात थोड़ी आगे बढ़े।

' कब आएगी बे वो? साला दो घंटे से वेट कर रहे हैं ' राहुल ने घड़ी देखते हुए संजय से पूछा।  अंकुश साथ में बैठा चिप्स खा रहा था।

' आ जाएगी बे , तुमको क्या जल्दी है ' संजय ने फोन की स्क्रीन में खुद के बाल सवारते हुए कहा।

संजय आज सुबह से इतना तैयार हुआ बैठा था जितना कभी उ प्रेसिडेंट बनने की सपथ लेते टाइम भी नहीं होता।सच कहें तो आज वह काफी नर्वस था, उसकी कभी  इतनी 10 लोंडो को साथ में आते देख नहीं फटी होगी, जितनी आज फट रही थी ।इसीलिए तो वह राहुल और अंकुश को भी साथ ले आया था ताकि थोड़ा मनोबल बना रहे।

' भाई कब आएगी यार उ....साला सेटिंग तुम्हारी होगी परेशान हम हो रहे हैं...चलो बे अंकुश  इसके करने दो इंतज़ार...हम चलते हैं' राहुल ने झुंझलाकर कहा और चिप्स खाते अंकुश को भी उठा लिया। यह सब चल ही रहा था कि उतने में सामने से प्रतिभा आ गई।

' हैलो जी..' प्यारी सी मुस्कान के साथ प्रतिभा ने संजय को कहा।

' ओह तुम आ गई , अच्छा... बढ़िया बढ़िया वो कहा है?..... कहा हैं?'संजय ने चारों तरफ नज़रे घुमाते हुए  कहा।

' वह बस दुकान से कुछ खाने के लिए लेने गई है अभी आ जाएगी ' प्रतिभा ने बताया उतने में उसकी नजर साथ बैठे राहुल और अंकुश पर भी पड़ी।

' अच्छा , अरे हां मैंने तो तुम्हें अपने दोस्तों से मिलवा ही नहीं, ये है अंकुश 'संजय ने अंकुश  की तरफ इशारा किया जो अभी भी चिप्स खा रहा था और उसने हाथ में चिप्स लिए हुए ही उसे hi कर दिया।प्रतिभा ने भी hi किया।

'और यह है राहुल 'संजय का इशारा राहुल की तरफ था जो मुंह फाड़े प्रतिभा को ही देख रहा था।

' साले मुंह बंद कर लो लार गिर रही है 'संजय ने राहुल के कान में जाकर कहा और राहुल को वापस होश आया।' और राहुल यह है...' संजय कुछ बोलता उससे पहले ही राहुल बोल पड़ा।

' प्रतिभा चौधरी

क्लास b3

सब्जेक्ट पॉलिटिकल साइंस

हाइट 5 फुट 6 इंच

साइज... '

राहुल कुछ और बोल पाता इससे पहले ही संजय ने उसका मुंह पकड़ लिया ' तुम मरवाओगे बे हमें,साले कुछ तो सोच समझकर बोला करो.... और कहा का साइज बता रहे हो बे ?' संजय ने राहुल के कान में कहां।

' राहुल बहुत मजाकिया है , एसे ही कुछ भी बोल देता है' संजय ने झूठी हंसी हंसते हुए कहा। राहुल अभी भी मुंह फाड़े प्रतिभा को ही देख रहा था। प्रतिभा  यह सब घटना देख कर थोड़ी हैरान थी पर उस हंसी भी आ गई।

और वे दोनों भी हंसने लगे। अंकुश अभी भी चिप्स खा रहा था।

'  अच्छा ...सुनो वो आ रही है प्लान क्या है?' प्रतिभा ने संजय से पूछा।

' प्लान .....प्लान तो कुछ नहीं है मेरे पास 'संजय ने सहमते हुए कहा।' प्लान भी बनाना था क्या ?'

' क्या.... कोई प्लान नहीं है? तो फिर हमको यहां पर काहे बुलाए थे हमको लगा तुम हमको यहां बुलाये हो तो तुम्हारे पास कोई प्लान तो होगा ही।' प्रतिभा ने थोड़ा सा नाराज होते हुए कहा। उसे यकीन नहीं हो रहा था।

' हां साले प्लान नहीं था तो काहे आए थे यहां पर' राहुल ने भी प्रतिभा का साथ दिया।

संजय ने मन में सोचा ' यह तो लड़की देखते ही पिघल गया है....अभी तो जा रहा था,और अब हमी को ज्ञान दे रहा है, इससे तो उम्मीद करना ही बेकार है, और यह अंकुश भी कबका  ठूस रहा है, पेट नहीं भरता क्या इसका और प्रतिभा से भी कुछ नहीं कह सकते तो क्या करें फिर.....'

'एक काम करो तुम उसको नाव पर बिठाओ और कोई बहाना करके कही चली जाओ फिर हम किसी तरह उसकी नाव पर जाकर बैठ जाएंगे। बस तुम हमको यह बता दो कि उससे बात क्या करें?' संजय ने प्रतिभा की तरफ उम्मीद से देखा।

' बात क्या करें !!....सच में तुम लड़कों का कुछ नहीं हो सकता' प्रतिभा ने निराशा से कहा।  फिर उसने देखा संजय काफी शर्मिंदा था, राहुल बस उसे घुरे जा रहा था, और अंकुश ....वो तो चिप्स खाने में मगन था।

'अरे उससे उसके बारे में पूछो, उसकी पढ़ाई, उसके परिवार से रिलेटेड कुछ पूछ लो, उसको किस चीज में इंटरेस्ट है वह पूछ लो, बहुत सारी बात कर सकते हो यार' प्रतिभा ने हिंट दिया।

' हां बे बात करने के लिए कोई टॉपिक थोड़ी चाहिए अगर लड़की खूबसूरत हो तो बिना टॉपिक के घंटों बात की जा सकती है' राहुल ने प्रतिभा की तरफ देखते हुए कहा जिस पर वह भी मुस्कुरा गई।

' रुको....पढ़ाई.... परिवार....और क्या था ' संजय अंगुलियों पर  नोट्स बनने लगा '। ' हम जा रहे है बे, हमसे नहीं हो पाएगा ....हमको लगा.. ' संजय घुंझलाकर खड़ा हुआ और जाने लगा।

' रुको...' अंकुश ने पीछे से कहा जो चिप्स खाने के बाद अब अंगुलियां चाट रहा था।' मुझे पता था कि ए तुमसे ना हो पाएगा इसलिए हम तैयारी करके आए थे। टेंशन मत लो मेरे पास आइडिया है' अंकुश अब चाणक्य लग रहा था।

संजय ,प्रतिभा ,राहुल तीनों अंकुश की तरफ उम्मीद से देखने लगे।

' इ हैं वायरलेस ब्लूटूथ ईयरबड' अंकुश ने जेब से 4 ईयर बर्ड्स निकालते हुए कहा ' सुनो इन सभी एअरबड्स को अपने अपने फोन से कनेक्ट कर लो और अपने अपने कान में डाल लो'

' कहा डाल लो?...' संजय ने डरकर कहा।

' कान में डाल लो... ' कान ' ' अंकुश ने जोर देते हुए कहा।

' अच्छा कान मैं डाल लो हमें लगा तुम कहे गा....'

' तुम बहुत ही उलट सुलट सुनते हो , अश्लील आदमी हो गए हो आजकल' अंकुश ने भी संजय की लेते हुए कहा। जिस पर राहुल और प्रतिभा को  हंसी आ गई।

' ये स्पेशल इयरबड्स है, इनकी साइज इतनी छोटी है कि अगर इनको कान में लगाओगे तो किसी को दिखाई नहीं देंगे और तुम हम सब से बात भी कर सकते हो। जहां कहीं पर भी तुम अटकोगे हम तुमको बता देंगे क्या बोलना है ठीक है अब जाओ ,निकलो' अंकुश ने संजय को एक इयरबड़ दिया और उसे धक्का दे दिया। सभी ने अपने फोन से इयरबड्स कनेक्ट किए और अंकुश ने कॉल लगा दी और सब जुड़ गए।

' हेलो, हमारी आवाज सुनाई दे रही है' संजय ने सब से पूछा।

' हां सुनाई दे रही भाई,अब जाओ उसकी नाव पर बैठ जाओ ' अंकुश ने दूरबीन से देखते हुए कहा।

संजय ने मेघना को नाव पर बैठे हुए देखा जिसने मुंह दूसरी तरफ कर रखा था और कानों में ईयर फोन लगा रखे थे। संजय जैसे ही नाव पर बैठा उसने मल्हा को नाव चलाने का सिग्नल दिया उसने एक बार मना तो किया पर वह संजय को जानता था, तो उसने भी नाव चलानी शुरू कर दी और नाव धीरे धीरे आगे बढ़ने लगी।

' अबे वो तो मुझे देख भी नहीं रही ...अब क्या बोलूं में ? ' संजय ने सवाल किया।

' गुरु मेरा अनुभव कहता है कि मीटिंग का फर्स्ट इंप्रेसन अच्छा हो तो अक्सर बात बन जाती हैं...तो उसको आराम से ग्रीट करो..जेंटलमैन कि तरह ' राहुल ने अपना अनुभव साझा किया।संजय ने गुरुमंत्र सुना और अपना लिया।

' हलों, गुड इवनीग.....कैसी हो आप?'  संजय ने खुद को नाव पर व्यवस्थित करते हुए कहा।

' आहहह ..' संजय को अचानक नाव पर देखकर मेघना डर गई।' तुम...... तुम यहां क्या कर रहे हो ? और ...प्रतिभा कहां है?' मेघना ने चारों तरफ देख कर कहा।

' वाह!बेटे साबाश! क्या इंप्रेस किया है जाते ही डरा दिया  उसको,हो गया तुम्हारा प्रेम मिलाप तो ' राहुल ने माथा पीट लिया।

राहुल और प्रतिभा घाट पर बने हुए रेलिंग से उन दोनों को देख रहे थे जबकि अंकुश ऊपर वाले ब्रिज से दूरबीन से देख रहा था।

' नहीं-नहीं वह तो बिल्कुल ठीक है वो वहां है हमारे दोस्तो के साथ है' संजय ने राहुल और प्रतिभा की तरफ इशारा किया तो वे दोनों नीचे झुक कर छुप गए।

'  साले ...चुतिया हो क्या इशारा काहे कर रहे हो बे।'राहुल ने गुस्से में संजय से कहा।

' इसका कुछ नहीं हो सकता भाई ,कम से कम तुम में लड़कियों से बात करने की हिम्मत तो है, भले ही बार-बार पिट जाते हो, पर फिर भी उसी लगन के साथ दूसरी पर ट्राई करते हो ,इस मामले में तुम संजय से काफी अच्छे हो' अंकुश ने दूरबीन से देखते हुए राहुल को कहा।

' अबे ब्लूटूथ पर प्रतिभा भी जुड़ी हुई है ,उसके सामने तो मत कहो बे ये सब'राहुल अब अंकुश पर चिल्ला रहा था। ' तुम दोनों ही मूर्ख हो ...' । प्रतिभा यह सब देखकर हंसी।

' वो तो ठीक है ,तुम यहां क्या कर रहे हो? ' मैघना ने  संजय से पूछा।

' हम तो तुमसे बात करने आए हैं , वो क्या ही की फोन पर हमारी इतनी बात होई नहीं तो हमने सोचा कि हम खुद आपसे मिल लेते हैं ..' संजय ने नीचे देखते हुए कहा।

' नीचे काहे देख रहे हो बे, आंखों में देख कर बात करो ,full confidence के साथ' राहुल ने रेलिंग से नीचे छूपते हुए राय दी।

'अच्छा... बोलो क्या बात करनी है? बोलो ' मेघना ने संजय से कहा जो अब उसे घूरने लगा था। यह देखकर वो थोड़ी सहम गई।

राहुल ने माथा पकड़ लिया ' साले आंखों में देखने को बोले थे घुरो मत ,औेर हा थोड़ा मुस्कुराके बात करो ' राहुल संजय को राय देना जारी रखा , इस दौरान प्रतिभा राहुल को देख रही थी। उसे उस समय राहुल बहुत क्यूट लग रहा था। राहुल की बात सुनकर संजय अजीब तरीके से मुस्कुराने लगा। जिसे देखकर मेघना और डर गई।

' साला तुम इसको क्या राय दे रहे हो बे, ये शक्ति कपूर की तरह मुस्कुरा रहा है । इसे देखकर तो हमें हमारी इज्जत की चिंता होने लगी ..जाते वक्त हम तो सबसे पीछे बैठेंगे भई' अंकुश ने दूरबीन से देखते हुए बोला।

' चुप करो बे तुम दोनों , कोई कह रहा हैं मुस्कुराओ कोई कह रहा है आंख में देख कर बात करो ,हमको कॉन्सेंट्रेट तो करने दो  ' संजय ने उन दोनों से कहा। पर संजय को खुद से बात करता देख मेघना थोड़ी सी और पीछे सरक गई।

' वह हम उस दिन की गलती के लिए माफी मांगने आए हैं हमें क्लास में ऐसा बिहेव नहीं करना चाहिए था' संजय ने बात को संभालते हुए कहा

' हमम... अच्छा...बस यही बात थी ' मेघना बोली।

' नहीं एक ओर बात थी ' संजय ने हर शब्द पर रुकते हुए कहा।

' अच्छा क्या बात थी ?' मेघना ने पूछा।

' बोल दो गुरु , बोल दो आई लव यू'  राहुल बोला।

' नहीं बे ये पुराना हो गया ये बोलो I'm in love with  you' अंकुश ने दूरबीन में  से देखते हुए कहा।

' अबे चुप हो जाओ ,तुम दोनों ' संजय ने इस बार जोर से कहा और इयरबर्ड निकालकर पानी में फेंक दिया।

अब संजय बात को संभालने लगा ' वो में कह रहा था ...की वो में.....की वो हैं ना... हां ..वही वही... वो'

' अबे तुम थोड़ा जल्दी नहीं चला सकते क्या बे ,कब से घुमा रहे हो एक ही जगह पर एक किनारे  से दूसरे  किनारे जाने में इतना समय लगता हैं क्या , जल्दी चलो ' संजय ने मलहा से कहा और वो डर के मारे जल्दी जल्दी चलाने लगा।मेघना यह सब देख कर हंसने लगी।

'अरे  तुम इतना क्यों घबरा रहे हो यही तो कहना चाहते हो ना  की 'यू लव मी' वैसे सच कहें तो हमें भी तुम अब उतने बुरे नहीं  लगते कोशिश करते रहो क्या पता हम तुमको पसंद भी कर ले ' मेघना ने प्यार से हंसते हुए कहा।

संजय ने इतना सुना और उसने वक्त को थमा  हुआ सा महसूस किया ,उसे लगा कि माहौल इतना शांत हो चुका है कि वह खुद की सांसो को भी महसूस कर सकता है'।

अब यहां विज्ञान कहेगा  कि समय और संसार किसी के लिए कहां रुकता है भई, पर विज्ञान  के सिद्धांत  प्रेमी के लिए उस पल पर लागू नहीं होते जब उसकी प्रेमिका ने उसे पहली बार छुआ हो,या फिर जब उनके बीच  पहला kiss हुआ हो, उस वक्त बाहरी संसार भले ही चल रहा हो पर अंदर की दुनिया तो थम ही जाती है। दिलो दिमाग में एक अजीब सी मिठास घुल जाती हैं जिसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता है।

'  यह क्या हुआ बे यहां तो प्लानिंग उल्टी पड़ गई ....उसने ब्लूटूथ फेंक दिया ....लगता है उ कुछ ग़लत सलत कह दिया है और अभी थप्पड़ खाएगा'राहुल ने चिंता जाहिर की।

' क्या?... साला उ नया इयरबर्ड था, कल ही लिए थे 1800का ' अंकुश इयरबर्ड फेंके जाने पर ज्यादा दुखी था।

‘ तुमको उस इयरबर्ड की पड़ी है उसको यहां पीटते हुए किसी कॉलेज के लडके ने देख लिया तो चुनाव से पहले अच्छा वाला प्रचार प्रसार  हो जाएगा ' राहुल ने चिंता से चारो तरफ देखते हुए कहा।

' तो तुमको क्या पता था? कि हम तुमको पसंद करते ' संजय ने कंफरटेबल होते हुए पूछा।

' हां पता था....शुरू से ही '

' पता था ,कैसे पता था ?'

' प्रतिभा ने बताया '

' अच्छा ...उसको तो हम ही कहे थे ' संजय ने बेशर्मी से मुस्करा दिया जिस पर मेघना भी हंस दी।

' अच्छा... उसने और क्या क्या बताया हमारे बारे में? ' संजय अब शांत हो गया और मुस्कुरा कर पूछा।

' सब कुछ, उसने वो सारे  मैसेजेस भी पढ़ाये जो तुमने मेरी तारीफ में उसको भेजे थे, और बताया कि आज तुम मुझसे मिलने का प्लान कर रहे हो इसलिए मैंने उससे कहा कि जब वो तुमसे मिले तो मुझे  कॉल कर दे और फोन को हाथ में पकड़ ले।

' मतलब तुम्हारी सारी बातें सुन रही थी' संजय ने चौकते हुए पूछा।

' बिल्कुल और तुम्हें क्या लगा मैं गाना सुन रही थी मैंने तुम्हारी सारी बातें सुनी है सारी की सारी' और फिर जोर से हंसने लगी।

संजय को इतनी शर्म आ रही थी कि एक बार तो मन किया की पानी में कूद जाए पर साला  गहरा भी हो सकता है इसलिए थोड़ी देर के लिए यह प्लान dismis कर दिया । उसनेअंकुश ओर राहुल की तरफ देखकर मुस्कराकर देखा और हाथ हिलाया।

' भाई उ हाथ हिला रहा है , लगता है मदद मांग रहा है ' अंकुश ने दूरबीन से देखते हुए कहा।

' अब यहां से क्या घंटा मदद करेंगे हम ....और करो आशिकी ...हम तो कहे थे इस काम में बहुत रिस्क है .... चलो अब बर्फ लेके आते है ,उसको  गाल सेकने के लिए चाहिए होगी...' राहुल ने प्रतिभा से कहा और दोनों चल दिए।

' सुनो बे आते हुए हमारे लिए भी चिप्स लेते आना...' अंकुश ने भी नीचे आते हुए कहा पर राहुल ने सुना नहीं और इयरबर्ड फेंक दिया।

' हम तुमको कहते हैं कि भले ही तुमको लगता हो कि हम सबको परेशान करते है पर यह पूरा सच नहीं है दरअसल हम ...' संजय  अब अपनी बाते बताने लगा।इतने में प्रतिभा ने राहुल को भी बता दिया कि मेघना को सब पता है।

'तो तुम को  पता था कि उसे भी संजय पसंद है' राहुल ने प्रतिभा से पूछा।

' हां पता था ' प्रतिभा ने आइसक्रीम खाते हुए कहा।

' तो तुम्हें यह भी पता होगा कि हम भी छुपकर तुमको देखते रहते हैं'राहुल आज कोई मौका छोड़ना नहीं चाहता था।

' तो दोपहर में दूरबीन लेकर लंगूर की तरह देखोगे तो पता चलेगा क्या, बेवकूफ… वो सूरज की रोशनी में चमकती हैं'प्रतिभा ने हंसते हुए कहा जिस पर राहुल को भी शर्म आ गई।

' तो तुम्हे यह भी पता होगा कि हम तुमको बहुत प्यार करते हैं'

'हां पता है और तुमको भी पता होना चाहिए ...कि हमें भी तुम अच्छे लगते हो पर अगर हमारे साथ रहना हैं तो फिर सबको भूलना पड़ेगा... किसी और लड़की के पीछे नहीं जाने देंगे हम' और संजय मेघना की तरह इनकी भी बातचीत चालू हो गई।

संजय ने जब मेघना से बातें की उसे पता चला कि मेघना के पापा बैंक  मैनेजर है और वो यहीं के है,उसके एक चाचाजी भी यहीं रहते हैं जो कोई बड़े आदमी है और उन्होंने ही उसके पापा का  ट्रांसफर यहां करवाया है इस वजह से वह और उसका भाई यहां रहने आ गए हैं और दोनों ने उसी कॉलेज में एडमिशन लिया है और यह भी बताया कि उसे पेंटिंग का शौक है और भी बहुत सी बाते ।

अंकुश थोड़ी देर बाद चिप्स ना मिलने पर कुरकुरे का पैकेट लेकर आ गया ,उसने कुरकुरे खाते हुए  दूरबीन उठाई और देखा कि संजय और मेघना पास पास बैठे हैं और कुछ बातें कर रहे हैं ,और बात बात पर हंस रहे हैं। अंकुश मुस्कराया और उसने दूरबीन राहुल की तरफ घूमाई तो देखा कि राहुल और प्रतिभा भी पास पास बैठकर उनकी  तरह ही बाते कर रहे है।

'हम तो एक फिल्म देखने का प्रोग्राम बनाए थे यहां तो दो-दो देखने को मिल रही है....सही है गुरु तुम भी लग लिए ' अंकुश मुस्कुराया और दूरबीन को घाट की तरफ कर दिया क्योंकि संजय और मेघना नाव से उतर चुके थे और सीढ़ियां चढ़ रहे थे। तभी अंकुश ने उनकी तरफ एक लडके को आते हुए देखा और उसका चेहरा देखते ही अंकुश के हाथ से कुरकुरा का पैकेट छूट गया, उसने संजय को फोन मिलाया और संजय ने फोन उठा भी लिया।

' काहे फोन कर रहे हो बे आ रहे  है ,रुको 2 मिनट '

' उ आ रहा है तुम्हारी तरफ '

' कौन? कौन आ रहा हैं?....' संजय बोला और उसने देखा कि उसके सामने आदित्य खड़ा था। आदित्य गुस्से में लग रहा था।

' इ यहां क्यों आया है?' संजय ने फोन पर पूछा

' हमको क्या पता ?लगता है तुमको अकेला देखकर लड़ने आया है या फिर....' अंकुश कुछ बोल रहा था।

' भाई ' मेघना ने कहा।

' भाई ? ....आदित्य ही मेघना का भाई है।' संजय ने खुद से कहा यह सुनकर अंकुश के भी होश उड़ गए।

' हम नहीं सोचे थे कि तुम साला इतना गिर जाओगे की हमसे पॉलिटिक्स खेलने के लिए हमारी बहन का इस्तेमाल करागे 'आदित्य ने मेघना का हाथ पकड़ते हुए कहा।

' भाई वो बात नहीं ....' मेघना कुछ कहना चाहती थी पर चुप हो गई।

' नहीं आदित्य ऐसा नहीं है भाई... हमको तो पता ही नहीं...' संजय ने समझाने की कोशिश की।

'  आज के बाद हमारी बहन के आस पास दिख गए ना तो चाचाजी से कहकर काट के यमुना में फेंकवा देंगे , सच कह रहे हैं.... हमारे घर से दूर रहो समझे'आदित्य ने कहा और मेघना को लेकर चला गया।

शाम से अब रात हो चुकी थी तीनों दोस्त बाइक पर बैठे और वापस चले गए और प्रतिभा भी अपने घर जा चुकी थी।

रात 8 बजे-

आदित्य फोन पर किसी से

' सुनो बे तैयारी करो उसको पेलना पड़ेगा '

' अभी नहीं  भैया सही समय आने पर ' फोन में से आवाज आयी

'  नही... बात अब घर तक आ गई है अब इसे नहीं छोड़ सकते '

' ठीक है भैया हम सबको कह देंगे फिर ' फोन में से आवाज अाई

'ठीक है'

आदित्य ने फोन कटा ओर उसके चेहरे पर गुस्सा साफ नजर आ रहा था।